एमडीयू ने यौन उत्पीड़न के दोषी प्राध्यापक को बर्खास्त किया

रोहतक, गिरीश सैनी। एमडीयू में सोमवार को आयोजित कार्यकारी परिषद की बैठक में विवि प्रशासन ने यौन उत्पीड़न के गंभीर मामले में सख्त रुख अपनाते हुए इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट स्टडीज एंड रिसर्च (इमसॉर) के एक प्राध्यापक की सेवा समाप्त करने का निर्णय लिया है। एमडीयू की इंटरनल कंप्लेंट कमेटी की अनुशंसा पर विवि प्रशासन ने जीरो टॉलरेंस नीति के अंतर्गत यह कार्रवाई की है।
कुलपति प्रो. राजबीर सिंह की अध्यक्षता में आयोजित कार्यकारी परिषद की इस बैठक में कुल 35 एजेंडे प्रस्तुत किए गए, जिन पर विस्तृत विचार-विमर्श के बाद निर्णय लिए गए। कुलपति ने कहा कि महिला सम्मान और सुरक्षा विवि की सर्वोच्च प्राथमिकता है। हम यह सुनिश्चित करेंगे कि हर छात्र और कर्मचारी भयमुक्त वातावरण में कार्य कर सके। यह निर्णय उसी प्रतिबद्धता का हिस्सा है।
कार्यकारी परिषद के अन्य निर्णयों में शिक्षण, प्रशासनिक व विकास संबंधी विषय शामिल रहे। बैठक में इमसॉर निदेशक की अनुशंसा पर कक्षा एवं संस्थान में लगातार अनुपस्थित रहने के चलते एक प्राध्यापिका को निलंबित करने तथा नियमानुसार अनुशासनात्मक कार्रवाई करने का निर्णय लिया गया।ई.सी. बैठक में हाल ही में कोर्ट के फैसले के मद्देनजर शारीरिक शिक्षा विभाग के एक प्राध्यापक की पीएचडी की डिग्री को वापस लेने तथा समिति की सिफारिशों के अनुसार किसी भी वित्तीय लाभ की वसूली करने का निर्णय लिया गया। वित्त विभाग के मूल्यांकन के अनुसार प्राध्यापक से लगभग 18 लाख रुपए की रिकवरी की जाएगी।कुलसचिव डा. कृष्णकांत ने बैठक में एजेंडा प्रस्तुत किया। भारतीय ज्ञान परंपरा और नैतिक मूल्यों को बढ़ावा देने के लिए एमडीयू में आचार्य चाणक्य शोधपीठ की स्थापना करने का निर्णय लिया गया। यह चेयर आचार्य चाणक्य द्वारा प्रतिपादित शासन, अर्थव्यवस्था और नैतिकता के प्राचीन भारतीय सिद्धांत के अनुसंधान और प्रसार पर ध्यान केंद्रित करेगी।
इस बैठक में शिक्षकों और गैर शिक्षक कर्मियों के समर्पण और वर्षों की सेवा को मान्यता देते हुए 16 शिक्षकों एवं 27 गैर शिक्षक कर्मियों की नियमानुसार पदोन्नतियों को मंजूरी प्रदान की गई। इसके अलावा इस बैठक में यूजी-पीजी पाठ्यक्रमों की फीस में जरूरतमंद और मेरिट होल्डर विद्यार्थियों को छूट देने समेत अन्य महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए।
बैठक में कार्यकारी परिषद सदस्य- केंद्रीय विवि हिमाचल प्रदेश, धर्मशाला के कुलपति प्रो. एस.पी. बंसल, बीपीएस महिला विवि की पूर्व कुलपति प्रो. सुषमा यादव, प्रो. बीबी गोयल, डीन एकेडमिक अफेयर्स प्रो. ए.एस. मान, प्रो. रणदीप राणा, प्रो. विनीता हुड्डा, प्रो. हरीश दूरेजा, प्रो. हरीश कुमार, प्रो. जितेन्द्र कुमार, डा. सुरेन्द्र दहिया, डा. नेत्र पाल, डा. उषा दहिया, डा. रश्मि गोयल, वित्त विभाग हरियाणा सरकार नॉमिनी उप सचिव फाइनेंस सुमेर सिंह यादव, एसीएस हायर एजुकेशन नॉमिनी ज्वाइंट डायरेक्टर डा. यशपाल सिंह, गैर शिक्षक कर्मचारी संघ प्रधान अनिल मल्होत्रा मौजूद रहे।