रचनात्मक शिक्षा की शुरुआत विनम्रता और जड़ों से जुड़े होने की भावना से होः वीसी डॉ. अमित आर्य

हवन के साथ डीएलसी सुपवा में नव शैक्षणिक सत्र की शुरूआत।

रचनात्मक शिक्षा की शुरुआत विनम्रता और जड़ों से जुड़े होने की भावना से होः वीसी डॉ. अमित आर्य

रोहतक, गिरीश सैनी। स्थानीय दादा लख्मीचंद राज्य प्रदर्शन एवं दृश्य कला विवि (डीएलसी सुपवा) में शैक्षणिक सत्र 2025–26 के नव प्रवेश प्राप्त विद्यार्थियों के लिए आयोजित इंडक्शन कार्यक्रम के अंतर्गत वीरवार को हवन कार्यक्रम आयोजित किया गया। 

एफटीवी भवन के खुले प्रांगण में संपन्न हवन के साथ औपचारिक रूप से नए शैक्षणिक सत्र की शुरुआत हुई। कुलपति डॉ. अमित आर्य ने बतौर मुख्य यजमान हवन में आहुति डाली। हवन कार्यक्रम में विवि के संकाय सदस्य, प्रशासनिक अधिकारी और नए छात्र शामिल हुए।

कुलपति डॉ. अमित आर्य ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि रचनात्मक शिक्षा की शुरुआत विनम्रता और जड़ों से जुड़े होने की भावना से होनी चाहिए। यह हवन केवल एक परंपरा नहीं है, बल्कि यह आत्मचिंतन, संतुलन और आशा का क्षण है। उन्होंने कहा कि प्रतिभा के साथ हमेशा मूल्य और आंतरिक स्पष्टता भी आवश्यक है।

कुलसचिव डॉ. गुंजन मलिक मनोचा ने इस आयोजन को संकल्प और उद्देश्य से परिपूर्ण एक नई शुरुआत का प्रतीक बताया। उन्होंने दोहराया कि विवि प्रशासन कलात्मक उत्कृष्टता, बौद्धिक जिज्ञासा और सांस्कृतिक गरिमा के पोषण के लिए प्रतिबद्ध है।